गिलोय के फायदे:
गिलोय का उपयोग प्राचीन काल से ही आयुर्वेदिक जड़ी बूटियां के रूप में किया जा रहा है. गिलोय एक प्रकार की बेल के रूप में उगती है. जो कहीं पर भी आसानी से लग जाती है. गिलोय के कई औषधीय फायदे होते हैं. जो शरीर को स्वस्थ रखने में व कई समस्याओं से छुटकारा पाने में शरीर की मदद करते हैं. गिलोय की तासीर गर्म होती है.
गिलोय में गिलोइन नामक ग्लूकोसाइड और टैनिस्पोरिन, पोमेरेनियन एवं टीनोस्पोरिक एसिड पाया जाता है. इसके अलावा गिलोय में कॉपर, आयरन, फास्फोरस, जिंक, कैल्शियम और मैंगनीज भी प्रचुर मात्रा में पाया जाता है. इसीलिए गिलोय के अनेक फायदे होते हैं.
गिलोय का वैज्ञानिक नाम टीनोस्पोरा कार्डीफोलिया है इसकी बेल में कई गुण शामिल होते हैं, जो कई बीमारियों को ठीक करने की अद्भुत क्षमता रखते हैं जिस वजह से इसे अमृता के नाम से भी जाना जाता है. इस बेल के कई गुण होते हैं जिनमें से एक यह भी होता है. कि यह जिस पेड़ के निपट फैलती है उसे उसे पेड़ के गुण भी गिलोय की बेल में शामिल हो जाते हैं. जिस वजह से नीम के पेड़ के ऊपर लगी बेल को सबसे ज्यादा लाभकारी माना जाता है. जो शरीर को कई रोगों से बचने का कार्य करती है.
गिलोय का सेवन करने का तरीका
आजकल अक्सर लोगों को जिला गिलोय के उपयोग करने का तरीका नहीं मालूम होता. जिससे वह गिलोय के फायदो का लाभ नहीं उठा पाते. गिलोय का प्रयोग कई रूपों में किया जा सकता है, जैसे की गिलोय सत्व, गिलोय जूस, गिलोय स्वरस और गिलोय चूर्ण. आजकल बाजार में गिलोय सत्व और गिलोय जूस आसानी से उपलब्ध हो जाता है.
लेकिन अगर आप अपने घर पर शुद्ध रूप से गिलोय का प्रयोग करना चाहते हैं. तो अपने घर में एक गिलोय की बेल जरूर लगाए. उसके बाद गिलोय का उपयोग करने के लिए गिलोय के तने का छोटा सा टुकड़ा लेकर उसके छोटे-छोटे टुकड़ों को कद्दूकस कर ले और पानी में डाल दे.
इसके साथ ही सर्दी जुकाम में गिलोय के साथ-साथ लॉन्ग अदरक तुलसी के पत्ते काली मिर्च आदि भी पानी में डालकर उबले. इस मिश्रण को इतनी देर उबले कि अगर एक गिलास पानी हो तो उसमें से सिर्फ एक कप गिलोय का कड़ा शेष बचे. इसको पीने से शरीर की कई बीमारियां दूर हो जाती है. यह आपको शुरुआत में थोड़ा कड़वा जरूर लग सकता है. लेकिन इसके फायदे के आगे यह कड़वापन कुछ भी मायने नहीं रखता.
गिलोय के फायदे
गिलोय पीने से मनुष्य शरीर में अनेक तरह के स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं में सुधार होता है. इससे होने वाले फायदे की विस्तृत जानकारी देखें.
1. प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने में सहायक
गिलोय न सिर्फ शरीर को बीमारियों से दूर करती है बल्कि यह शरीर की इम्युनिटी पावर बढ़ाने में भी काफी हद तक सहायक होती है. गिलोय जूस का सेवन करने से शरीर में इम्यूनिटी पावर में सुधार होता है. जिससे यह कई संक्रामक बीमारियों जैसे सर्दी जुखाम बुखार आदि से हमें बचाती है. गिलोय एक इम्यूनिटी बूस्टर की तरह काम करती है. जिससे अगर इसका नियमित सेवन किया जाए तो शरीर कई तरह की संक्रामक बीमारियों से बच सकता है.
2. डायबिटीज
गिलोय हाइपोग्लाइसेमिक एजेंट की तरह काम करती है. विशेषजीओ का मानना है कि टैप टू डायबिटीज को नियंत्रित रखने में गिलोय काफी मात्रा में असरदार भूमिका निभाती है. गिलोय शरीर में बढ़ते शुगर लेवल को कंट्रोल करता है. यह इंसुलिन का बहाव बढ़ती है और इन्सुलिन रेजिस्टेंस को काम करती है. जिससे अगर कोई भी व्यक्ति डायबिटीज से पीड़ित है वह गिलोय का प्रयोग करके अपनी बीमारी में राहत पा सकता है.
3. डेंगू
गिलोय में मौजूद एंटीपायरेटिक गुण बुखार को जल्द ठीक करते हैं. और साथ ही गिलोय इम्यूनिटी बूस्टर का भी काम करती है. इसीलिए अगर किसी को डेंगू बुखार हो जाती है. तो घरेलू उपाय के रूप में गिलोय का सेवन करना बहुत ज्यादा प्रचलित है. और यह फायदेमंद भी होता है. क्योंकि डेंगू बुखार से इम्युनिटी पावर तेजी से घटता है. लेकिन गिलोय के प्रयोग से बुखार को जल्दी ठीक किया जा सकता है. और इम्युनिटी पावर बढ़ाने में भी यह काफी हद तक सहायक होता है.
4. बुखार व खांसी – जुकाम
गिलोय में ऐसे एंटीपायरेटिक और एंटी एलर्जिक गुण होते हैं. जो पुराने से पुराने बुखार को भी ठीक कर देते है और अगर आपको कई दिनों से खांसी है और वह ठीक नहीं हो रही तो गिलोय का सेवन करने से आपकी पुरानी से पुरानी खांसी भी जल्द ठीक हो जाएगी. खांसी को ठीक करने के लिए गिलोय के कड़े का इस्तेमाल करना चाहिए. वहीं दूसरी और गिलोय से मलेरिया डेंगू और स्वाइन फ्लड जैसे गंभीर रोगों से होने वाले बुखार में भी आराम मिलता है. इसीलिए इन रोगों से पीड़ित मरीजों को गिलोय पीने की सलाह दी जाती है.
5. त्वचा के लिए गुणकारी
गिलोय त्वचा संबंधी रोग ऑन जैसे एलर्जी आदि को दूर करने में भी सहायक माना जाता है. गिलोय का सेवन करने से त्वचा पर होने वाले सफेद धब्बों और कील मुंहासे में आराम मिलता है. क्योंकि गिलोय से शरीर की त्वचा में उपस्थित एलर्जी या कोई भी त्वचा रोग दूर होता है.
इनके अलावा और भी कई बीमारियां है जिनके लिए गिलोय काफी फायदेमंद होती है. जैसे पीलिया, एनीमिया, गठिया, अस्थमा, लीवर के लिए भी गिलोय बहुत फायदेमंद होती है. गिलोय शरीर में उपस्थित खून को साफ करने में सहायक होती है. लीवर का नियमित सेवन करने से लीवर संबंधित गंभीर बीमारियों से भी बचा जा सकता है.
गिलोय के नुकसान :-
गिलोय के फायदे के साथ-साथ अगर इसका मंत्र से अधिक उपयोग किया जाए तो इसके कुछ नुकसान भी हो सकते हैं. अगर आप ज्यादा मात्रा में इसका सेवन करते हैं तो आपको इसके नुकसान भी झेलना पड़ सकते हैं. तो इस मामले में हम आपको बताते हैं. कि आखिर कब व किन-किन परिस्थितियों में गिलोय का सेवन नहीं करना चाहिए.
- ऑटोइम्यून बीमारियों का खतरा:-गिलोय के सेवन से शरीर की इम्युनिटी पावर मजबूत हो जाती है. लेकिन कई बार इम्युनिटी पावर के अधिक सक्रिय होने के वजह से ऑटोइम्यून बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है. जिससे मल्टीपल कैरोलिसिस या रूमेटाइड अर्थराइटिस आदि बीमारियों से पीड़ित मरीजों को गिलोय से परहेज करना चाहिए.
- निम्न रक्तचाप:-अगर कोई व्यक्ति निम्न रक्त छाप का मरीज है. उन्हें गिलोय का सेवन करने से परहेज करना चाहिए. क्योंकि गिलोय भी ब्लड प्रेशर को कम करने का काम करती है. जिससे शरीर की हालत और भी ज्यादा बिगड़ सकती है. इसके अलावा सावित्री से पहले भी गिलोय के सेवन को नकारा जाता है.
- गर्भावस्था:- बिना डॉक्टर की सलाह के गर्भ की महिला को भी गिलोय का सेवन नहीं करना चाहिए.
द्वारा बताए गए जानकारी के माध्यम से अब आप गिलोय के फायदे और नुकसान के बारे में अच्छी तरह से जान चुके होंगे. इसीलिए आप यह ध्यान रखें की गिलोय किस प्रकार वह कितनी मात्रा में लेना फायदेमंद होगा. क्योंकि अगर आप बहुत अधिक मात्रा में गिलोय का सेवन करते हैं. तो यह आपके शरीर को नुकसान भी पहुंचा सकता है. लेकिन गिलोय का नुकसान बहुत ही कम मात्रा में देखने को मिलता है. इसके अलावा गिलोय के फायदे भरपूर मात्रा में मिलते हैं. अलावा लेकिन फिर भी अगर आपको कोई समस्या आती है तो डॉक्टर से सलाह जरूर ले.